देवरिया। लोकतंत्र का मंदिर कहे जाने वाले संसद भवन की नई बिल्डिंग बनकर लगभग तैयार हो गई है। कुछ ही दिनों में नए संसद भवन में ही सदन लगेगा। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर नए संसद भवन की कुछ तस्वीरें सामने आई हैं। भवन बहुत ही भव्य और शानदार नजर आ रहा है।

पुराने भवन से काफी बड़ा और भव्य है नया संसद भवन
संसद भवन की नई इमारत 13 एकड़ में बन रही है। इसमें एक साथ 1 हजार 200 सांसद बैठ सकते हैं। लोकसभा में 888 सांसदों के बैठने की व्यवस्था और 384 सांसदों के राज्यसभा में बैठने की व्यवस्था है। इसके साथ ही एक संविधान कक्ष भी बनाया गया है। संसद का यह नया भवन पूरी तरह से भूकंप रोधी बनाया गया है। यह भवन पुराने संसद भवन से 17 हजार वर्ग मीटर बड़ा है।
किसने किया इस भव्य भवन को डिजाइन
नए संसद भवन को HCP डिजाइन, प्लानिंग एंड मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड ने तैयार किया है। इस प्रोजेक्ट के मुख्य आर्किटेक्ट बिमल पटेल हैं। नए भवन का निर्माण सेंट्रेल विस्टा रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के तहत किया जा रहा है। साल 2020 में यह कॉन्ट्रैक्ट टाटा प्रोजेक्ट्स ने 861.9 करोड़ रुपए में लिया था, लागत कीमत बाद में बढ़ाकर करीब बारह सौ करोड़ रुपए कर दी गई थी। चार मंजिला संसद भवन में लाउंज, लाइब्रेरी, कमेटी हॉल, कैंटीन और पार्किंग की सुविधा भी दी गई है ।

लोकसभा मोर और राज्यसभा कमल की थीम पर
संसद भवन के लोकसभा भवन की थीम राष्ट्रीय पक्षी मोर पर रखी गई है। भवन के रंग का इस थीम को ध्यान में रखकर किया गया है साथ ही लोकसभा भवन की दीवारों और छत पर इसी थीम के अनुसार सुंदर कारीगरी की गई है। राज्यसभा की थीम राष्ट्रीय फूल कमल पर रखी गई है। पूरे भवन को उसी के अनुसार रंग और आकृतियों से सजाया गया है।

क्यों पड़ी नए भवन की जरूरत
अब तक जिस संसद भवन में संसद चल रही है वह 1927 में बनाया गया था। यह भवन 95 साल पुराना है। लोकसभा की सीटें नए परिसीमन के साथ बढ़ेंगी, जिससे सांसदों के बैठने के लिए भी अतिरिक्त सीटों की जरूरत होगी। 2020 में ही सरकार ने संसद को बताया था कि यह भवन ओवर यूटिलाइज्ड हो चुका है। पुराना संसद भवन को विरासत के तौर पर म्यूजियम में तब्दील करने की योजना है।